बालू घाट के संचालन हेतु पर्यावरण स्वीकृति को लेकर लोक सुनवाई
दिवाकर तिवारी ।
रोहतास। नासरीगंज प्रखण्ड मुख्यालय स्थित बीआरजीएफ भवन में एडीएम चन्द्रशेखर प्रसाद सिंह की अध्यक्षता व राज्य पर्यावरण बोर्ड के पदाधिकारी सेन कुमार की उपस्थिति में प्रखण्ड के महादेवा बालू घाट के संचालन हेतु पर्यावरण स्वीकृति को लेकर लोक सुनवाई का आयोजन किया गया। इस अवसर पर महादेवा गांव के ग्रामीण भी उपस्थित रहे। जिनसे बारी-बारी से पूछा गया कि इन बालू घाटों के खुलने से कोई आपत्ति हो तो बताएं। जिसपर ग्रामीण सुधांशु कुमार, विनोद चौधरी, कुमार आकाश ने कहा कि घाट के रास्ते व सड़को पर धूल गर्दा नहीं उड़ना चाहिए, समय-समय पर घाट के रास्ते व सड़क पर पानी का छिड़काव होना चाहिए ताकि सड़को पर धूल न उड़ सके, गांव के तट से दो-तीन किलोमीटर की दूरी पर बालू खनन होना चाहिए, सड़क के किनारे बालू न गिराए ताकि कोई दुर्घटना न हो सके, अधिक से अधिक स्थानीय ग्रामीण लोग को ही उक्त घाट में मजदूर के रूप में रोजगार उपलब्ध कराने की अपनी बात रखी। जिसपर एडीएम ने बालू संवेदको को निर्देश देते हुए कहा की निश्चित तौर पर ग्रामीणों के हित का ध्यान रखा जाये और उक्त परियोजना में किसी भी हाल में ग्रामीणों को ही रोजगार मिले। उन्होंने बताया कि डीएम के निर्देश पर प्रखण्ड के महादेवा बालू घाट कि पर्यवारण स्वीकृति के लिए लोक सुनवाई की गई है। महादेवा के बालू घाट खनन परियोजना बंशीधर कंस्ट्रक्शन के निदेशक शक्ति कुमार उर्फ मन्जी बताये जाते हैं। जबकि एमडी पंकज कुमार यादव है। सुनवाई की रिपोर्ट वरीय अधिकारियों को दी जायेगी तत्पश्चात निर्णय आ पायेगा। पर्यावरण सलाहकार रवि कुमार ने बताया कि बालू संवेदक को पर्यावरण अधिनियम का पालन करना होगा। घाटों के आस पास एक हजार छायादार व फलदार पेड़ लगाये जायेंगें तथा उसकी देख भाल भी करना है। मौके पर प्रदूषण बोर्ड इंजीनियर सेन कुमार, वैज्ञानिक राजीव कुमार, खनन निरीक्षक संजीव कुमार, उस्मान अंसारी, सीओ अमित कुमार, आरओ चन्दन चौधरी, प्रमुख योगेश कुमार, रमेश गौतम, बंशीधर कंस्ट्रक्शन के निदेशक शक्ति कुमार उर्फ मन्जी, एमडी पंकज कुमार यादव, पूर्व मुखिया मंटू तिवारी, पूर्व उपमुखिया राजू सिंह, टूटू सिंह, डेविड यादव, गोविंद कुमार, मनोज सिंह समेत बड़ी संख्या में ग्रामीण उपस्थित थे।