डाक्टर को सहनशील संवेदनशील कर्तव्यनिष्ठ होना चाहिए- डॉक्टर विवेकानंद मिश्र

विश्वनाथ आनंद ।
गया (मगध बिहार)- विभिन्न सामाजिक संगठनों से जुड़े आयुर्वेद विकास एवं रक्षा संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रसिद्ध आयुर्वेद चिकित्सक डॉक्टर विवेकानंद मिश्र ने कहा है कि हमारी संस्कृति में डॉक्टर को भगवान का दर्जा दिया जाता है। इसी महत्व को दर्शाने के लिए महान मानवतावादी डॉ बिधान चंद्र राय की स्मृति में चिकित्सक दिवस मनाया जाता है। हर वर्ष 1 जुलाई को राष्ट्रीय डॉक्टर्स दिवस मनाय जाता है ।इस अवसर पर डॉक्टर को सम्मानित किया जाता है। इसे मनाए जाने के पीछे डॉक्टरों को अपनी मानवीय कर्तव्य सेवा एवं निष्ठा के प्रति जागरूक करने का संदेश छुपा है । इस अवसर पर डॉक्टर्स को आत्म -निरीक्षण एवं चिंतन कर नैतिकता की सामान्य गिरावट के प्रति सावधानी बरतनी चाहिए । रोग आक्रांत व्यक्तियों तथा उनके रिश्तेदारों से आए दिन प्रायः डॉक्टरों का व्यवहार रुखा देखा जा रहा है जिसके फलस्वरूप स्वभाविक है भावनात्मक आक्रोश हो जाता है। यही कारण है कि आज डॉक्टर भी हिंसा के शिकार हो रहे हैं जिन्हें धरतीपर भगवान का दूसरा स्वरूप समझा जाता है । डॉक्टर्स को विधान चंद्र राय से प्रेरणा लेकर सेवा को परम धर्म मान कर समर्पित भाव से रोग से पीड़ित व्यक्ति को स्वास्थ्य लाभ देने के लिए तत्पर रहने की आवश्यकता है.