कोयला खनिक श्रमिक की दयनीय स्थिति

रजनीश कुमार ।

जहानाबाद स्थानीय एस0 एन0 सिन्हा कॉलेज, जहानाबाद में आज कोयला खनिक मजदूर दिवस का आयोजन महाविद्यालय के राजनीति शास्त्र विभाग एवं आइ0 क्यू0 ए0 सी0 की पहल पर प्राचार्य प्रो0 डॉ0 अरुण कुमार रजक की अध्यक्षता में किया गया। आज के कार्यक्रम पर प्रकाश डालते हुए राजनीति विज्ञान के विभागाध्यक्ष मो0 इंतखाब आलम ने कहा कि कोयला एक प्राकृतिक संसाधन है जिसका सामाजिक एवं आर्थिक विकास में महत्वपूर्ण योगदान है। वर्तमान समय में विश्व के कोयला उत्पादक देशों में भारत पांचवें स्थान पर है। भारत में कोयला के साथ-साथ तेल, प्राकृतिक गैस, बाक्साईट, डोलोमाइट, चुना पत्थर, जिप्सम जैसे धातु एवं गैर धातु खनिजों का भंडार मौजूद है। किंतु कोयला खनन में कार्यरत श्रमिक की आर्थिक, सामाजिक एवं स्वास्थ्य संबंधी स्थिति अन्य मजदूर की अपेक्षा दयनीय है। जिसमें काम के अधिक घंटे, असुरक्षित वातावरण में कार्य करना। श्वसन संबंधी समस्याएं इत्यादि प्रमुख है। भारत के संविधान के अनुच्छेद 14, 19, 21, 23, 42 आदि में भी श्रमिकों के अधिकार सुनिश्चित किए गए हैं। इस विषय को विस्तार देते हुए आइ0 क्यू0 ए0 सी0 के समन्वयक डॉ0 सुबोध कुमार झा ने कोयला श्रमिकों के शोषण के विभिन्न आयामों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि उनकी दुरावस्था में सुधार के कई प्रयास हुए हैं पर अभी और प्रयास की जरूरत है। प्रोफेसर डॉ0 उमाशंकर सिंह ने कोयला श्रमिक के विषम परिस्थिति में संघर्षपूर्ण जीवन यापन करने के बारे में बताया। डॉ0 बबलू कुमार ने कोयला एवं कोयला मजदूर के आर्थिक पक्ष पर प्रकाश डाला तथा ओम प्रकाश वर्मा ने कोयला श्रमिकों की दक्षता के संदर्भ में कार्य पर होने वाले परेशानी की बारे में बताया। कार्यक्रम में डॉ0 अख्तर रोमानी, डॉ0 एन0 पी0 सिंह, डॉ0 कविंदर भगत, डॉ0 ज्योतिमाया, पंकज कुमार, विजय कुमार व शिक्षकेतर कर्मी रास नारायण भगत, शशि भूषण सिंह, संजय कुमार, ब्रजेश कुमार, विकाश कुमार, राजीव कुमार सिंह इत्यादि सहित अनेक विद्यार्थी उपस्थित हुए। कार्यक्रम में स्वागत संभाषण सत्येंद्र कुमार द्वारा किया गया जबकि धन्यवाद ज्ञापन डॉ0 मिथिलेश कुमार सिंह के द्वारा किया गया। कार्यक्रम का संचालन विभागाध्यक्ष मो0 इंतखाब आलम ने किया।

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