जन्म के तीन घण्टे बाद नवजात बच्चे की हुई संदेहास्पद मौत,कर्मी पर लगा लापरवाही का आरोप

संतोष कुमार ।

मुख्यालय स्थित अनुमंडलीय अस्पताल में स्वास्थ्यकर्मियों के लापरवाही के कारण हमेशा विवादों में रहता आ रहा है।ताजा मामला रविवार की रात्रि लगभग 8:30 बजे का है।अस्पताल परिसर में परिजनों द्वारा रोने-बिलखने के साथ-साथ नवजात शिशु के जन्म होने के बाद मौत का जिम्मेदार स्वास्थ्यकर्मियों को बताया जा रहा था।परिजन रो-रो कर गुहार लगा रहे थे कि उनका बच्चा बिल्कुल स्वस्थ था और उसने अपनी मां का दूध भी पिया था,वो कैसे नहीं हील-डुल रहा है।

क्या है मामला –

रविवार की संध्या अस्पताल में प्रसव कराने भड़रा गांव निवासी संजय यादव की पत्नी ललित कुमारी आई।ललिता कुमारी का यह तीसरा प्रसव था।गर्भवती महिला के साथ उसके पति,देवर,गोतनी आदि भी अस्पताल में थी।रविवार की शाम लगभग 5:30 बजे में ललिता कुमारी ने नॉर्मल डिलीवरी से तीसरे संतान के रूप में बेटे को जन्म दी।बच्चे के जन्म के बाद परिजनों में खुशियों का माहौल था और लोग एक-दूसरे को बधाइयां भी दिया।नवजात शिशु को ड्यूटी में रही नर्स एवं चिकित्सक डॉ. पारितोष कुमार ने जांच के बाद स्वस्थ बताया।वहीं नर्स द्वारा नवजात शिशु को बच्चे की मां को देकर दूध पिलाने को कही।नवजात शिशु भी अपनी मां का दूध पीकर सो गया।जन्म से लगभग तीन घण्टे बाद जब मां प्यार से बच्चे को हिला-डुलाकर देखी तो उसका बच्चा कोई प्रतिक्रिया नहीं दे रहा था।इसके बाद उसकी मां रोने लगी और परिजन नर्स और चिकित्सक को बुलाने दौड़े।डिलीवरी रूम के ड्यूटी में रही दो नर्स ललिता कुमारी के पास आकर उसके बच्चे को हिलाने-डुलाने का प्रयास की,तो उन्हें कुछ समझ में नहीं आया और कहने पूछने लगी कि तुमलोग कैसे बच्चे को रखी थी।इसी बीच अस्पताल में ड्यूटी में रहे चिकित्सक डॉ. पारितोष कुमार आये और जांच करने के बाद बच्चे को मृत घोषित कर दिया।जिसके बाद परिजन रोने व चिल्लाने लगे कि उनका बच्चा कैसे मर गया।इसपर ड्यूटी में रही नर्स लोगों ने कहा कि हो सकता है कि बच्चे पंखे की तेज हवा में अथवा मुंह ढ़के रहने से सांस लेने में हुई दिक्कत के कारण मर गया हो।पीड़ित परिजनों द्वारा लगातार स्वास्थ्यकर्मियों पर लापरवाही का आरोप लगाया जा रहा था।अंततः उन्होंने अपनी बुरी किस्मत का हवाला देकर मृत बच्चे के साथ रोते-बिलखते घर चले गए।बताते चलें कि अस्पताल में पीकू की भी व्यवस्था है,जो बन्द पड़े धूल चाट रही है।

क्या कहते हैं चिकित्सक –

अस्पताल में ड्यूटी में रहे चिकित्सक डॉ. पारितोष कुमार ने कहा कि बच्चे का जन्म लगभग 5:30 बजे हुआ था।बच्चा एकदम स्वस्थ था।इस दौरान बच्चे ने मां का दूध भी पिया।उसके बाद लगभग 8:30 बजे नर्स के बुलाने पर वे बच्चे की जांच किये,तो बच्चा मृत पाया गया।

क्या कहते हैं सिविल सर्जन नवादा –

इस बाबत पर सिविल सर्जन नवादा डॉ. नीता अग्रवाल ने बताई कि बच्चे के मृत होने के कारणों पर रिपोर्ट बनाने को निर्देशित किया जाएगा।ताकि बच्चे के वास्तविक कारणों का पता चल सके।उन्होंने यह भी कहा कि मामले की जांच में यदि स्वास्थ्यकर्मियों की गलती सामने आई तो निश्चित रूप से कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।

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