डायरिया के प्रकोप से बचाव को लेकर गैरिबा के मांझी टोला में सीएस के निर्देश पर लगा मेडिकल कैम्प,स्थिति सामान्य
संतोष कुमार .
प्रखण्ड क्षेत्र के बहादुरपुर पंचायत के गैरिबा गांव स्थित मांझी टोला के दो परिवारों के सदस्यगण डायरिया के शिकार हो गए।इस दौरान संक्रमण बढ़ने लगा और अब तक लगभग दो दर्जन लोग इससे पीड़ित हो चुके हैं।जिसका इलाज पीएचसी प्रभारी डॉ. सौरभ कुमार निराला के देखरेख में एएनएम के सहयोग से किया जा रहा था।वहीं जिन लोगों की तबियत ज्यादा खराब थी,उन्हें अनुमंडलीय अस्पताल में एम्बुलेंस से भर्ती भी कराया गया।वहीं शनिवार की देर रात्रि लगभग 10:30 बजे सिविल सर्जन नवादा डॉ. नीतू अग्रवाल गैरिबा के मांझी टोला पहुंचकर आंगनबाड़ी केन्द्र संख्या 55 में बने अस्थाई मेडिकल कैम्प का निरीक्षण किया एवं पीड़ित परिजनों से मिलकर उनके स्वास्थ्य की विस्तृत जानकारी ली।सिविल सर्जन ने लगभग दो घण्टे रात्रि में गांव में बिताए,उसके बाद वे अनुमंडलीय अस्पताल एवं पीएचसी कार्यालय का भी निरीक्षण कर चिकित्सकों को आवश्यक निर्देश दिए।
क्या है मामला –
डायरिया से पीड़ित परिजन मांझी टोला निवासी संतोष मांझी की पत्नी रूबी देवी ने बताई कि वे अपने बच्चों के साथ यूपी के कानपुर में ईंट भट्ठा पर काम करके दस दिन पहले लौटी थी।लौटने के क्रम में परिवार के कुछ लोगों को उल्टी एवं दस्त की शिकायत थी।गांव आने के बाद वार्ड संख्या 12 के वार्ड सदस्य सीताराम रविदास द्वारा मुखिया प्रतिनिधि प्रमोद साव को सूचना दिया गया।मुखिया प्रतिनिधि द्वारा तत्कालीन बीडीओ अनिल मिस्त्री को सूचित किया गया।बीडीओ ने पीएचसी प्रभारी डॉ. सौरभ कुमार निराला को सूचित किया।जिसके बाद पीएचसी में पदस्थापित एएनएम,आशा एवं आंगनबाड़ी सेविका एवं सहायिका की मदद लोगों का इलाज घर-घर जाकर किया जा रहा था।वहीं जिसकी तबियत ज्यादा बिगड़ रही थी,उसे एम्बुलेंस की मदद से अनुमंडलीय अस्पताल में भर्ती कराया जा रहा था।
एक सप्ताह पूर्व डायरिया से पीड़ित दो बच्चों की हो चुकी मौत –
यूपी के कानपुर स्थित ईंट भट्ठा से लौटने के क्रम में मांझी टोला के संतोष मांझी,राधिका कुमारी,सन्नी कुमार,रूबी देवी,करण कुमार,शंकर मांझी एवं प्रमिला देवी के चार बच्चे डायरिया से पीड़ित हो गए।गांव पहुंचने के बाद 8 दिनों पूर्व पीड़ित बब्लू मांझी की 8 वर्षीय पुत्री राधिका कुमारी की तबियत ज्यादा बिगड़ गई और अस्पताल जाने के क्रम में मौत हो गई।वहीं 6 दिनों पूर्व रामनाथ मांझी के 9 वर्षीय पुत्र की मौत इलाज के क्रम में हो गई।जबकि एक बच्ची जो गम्भीर रूप से पीड़ित थी,वो अनुमंडलीय अस्तपाल में हुए इलाज के बाद पूर्णतः स्वस्थ हो गई है।
मेडिकल कैम्प में किया जा रहा लोगों का इलाज –
पीएचसी प्रभारी डॉ. सौरभ कुमार निराला के नेतृत्व में तीन शिफ्टों में चिकित्सकों डॉ. बीरेंद्र कुमार,डॉ. उपेन्द्र कुमार व डॉ. फिरोज अख्तर की तैनाती मेडिकल कैम्प में की गई है।वहीं चिकित्सकों के साथ तीनों शिफ्टों में एक-एक जीएनएम एवं एएनएम की मदद से आंगनबाड़ी केन्द्र में मेडिकल कैम्प लगाकर डायरिया से पीड़ित लोगों का इलाज किया जा रहा है।वहीं अनुमंडलीय अस्पताल के मैनेजर विकास कुमार द्वारा मेडिकल कैम्प के पास चौबीसों घण्टे एम्बुलेंस चालक अजित कुमार एवं ईएमटी चन्दन कुमार की तैनाती की गई है।मेडिकल कैम्प में ओआरएस,ओन्डेम,मेट्रोन,पैंटोप्राजोल,जिंक टेबलेट,आरएल सहित दर्जनों प्रकार की दवाइयां उपलब्ध है।वहीं पांच वर्ष से कम के बच्चों के लिए जरूरी सिरप आदि भी पर्याप्त मात्रा में मौजूद है।जिससे डायरिया से पीड़ित लोगों का इलाज किया जा रहा है।
डायरिया से पीड़ित लोग हो रहे स्वस्थ-
बहादुरपुर ग्राम पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि प्रमोद साव ने कहा कि वार्ड सदस्य सीताराम रविदास द्वारा जानकारी मिलने के बाद बीडीओ एवं पीएचसी प्रभारी को सूचना दी गई थी।सूचना के बाद स्वास्थ्यकर्मी घर-घर जाकर इलाज कर रहे थे।अभी मेडिकल कैम्प में बच्चे से लेकर बुजुर्ग तक पहुंच अपना इलाज करवा रहे हैं।स्वास्थ्यकर्मियों की तत्परता के कारण अभी मांझी टोला के लोग स्वस्थ हैं।
डायरिया से बचाव के उपाय –
चिकित्सक कहते हैं कि बच्चों में डायरिया का मुख्य कारक रोटा वायरस होता है।जिन बच्चों को रोटा का वैक्सीन नहीं मिलता है,उन्हें डायरिया से ज्यादा खतरा होता है।रोटा वैक्सीन विभिन्न खुराकों में दिया जाता है।इसके अलावे घर में बचे बासी भोजन को नहीं खाना चाहिए।खाने और पकाने के क्रम में फल व सब्जियों को अच्छे से धोना चाहिए।टॉयलेट से आने के बाद अपने हाथों को साबुन आदि से धोना चाहिए।सफर के दौरान वाटर प्यूरीफायर या बन्द बोतल वाले पानी का इस्तेमाल करना चाहिए।साथ ही ठेला आदि पर बिकने वाले स्ट्रीट फूड्स से परहेज करना चाहिए।
क्या कहते हैं पीएचसी प्रभारी –
पीएचसी प्रभारी डॉ. सौरभ कुमार निराला ने बताया कि बीते दस दिनों से स्वास्थ्यकर्मियों द्वारा डोर-टू-डोर जाकर लोगों का इलाज किया जा रहा है।खासकर दो पीड़ित परिवारों के सभी सदस्यों का इलाज किया जा चुका है।वहीं शनिवार की शाम को सिविल सर्जन नवादा द्वारा गांव में मेडिकल कैम्प लगाने का निर्देश दिया गया।जिसके बाद संध्या 6 बजे से आंगनबाड़ी केन्द्र में मेडिकल कैम्प लगाया गया है।यह उन्होंने कहा कि जब तक मांझी टोला के सभी लोग स्वस्थ नहीं हो जाते हैं,तब तक मेडिकल कैम्प कार्यरत रहेगा।अभी स्थिति बिल्कुल सामान्य है एवं लोगों को साफ-सफाई को लेकर जागरूक किया जा रहा है।