न्याय के लिए विधवा अपने बच्चों संग लगा रही है दफ्तरों का चक्कर

संतोष कुमार ।

थाना परिसर में प्रत्येक शनिवार को अंचलाधिकारी व थानाध्यक्ष के नेतृत्व में जनता दरबार का आयोजन कर रैयती भूमि से सम्बंधित विवादों का निपटारा किया जाता है।इस जनता दरबार में कई लोगों को न्याय मिलता है।तो कई लोगों को न्याय हेतु थाना,अंचल कार्यालय व एसडीओ कार्यालय तक का चक्कर लगाना पड़ता है।धमनी गांव में पति के मृत्यु के बाद विधवा को उसके चार बच्चों के समेत बिहार सरकार के जमीन पर निर्मित घर से जबरन बाहर निकाल कर दुकान समेत घर में ताला जड़ दिया गया।जिससे विधवा को अपने बच्चों समेत पड़ोसी व परिजनों के यहां रहना पड़ रहा है।पीड़िता स्व सुधीर विश्वकर्मा उर्फ टेम्पू की पत्नी संगीता देवी ने बताई कि उसके पति की मृत्यु इलाज के दौरान बीते 22 मई को हो गई।पति के मृत्यु के चौथे दिन 26 मई को गांव के ही आशीष साव,आशीष साव की पत्नी गुड़िया देवी व बेटे अंशु कुमार के अलावे अन्य दबंग लोगों ने जबरन मुझे व मेरे चार बच्चों को घर से बाहर निकाल दिया।जिसकी सूचना पुलिस को दी गई।पुलिस घटना स्थल पर पहुंचकर आशीष साव व उसके परिजनों को झगड़ा नहीं करने व ताला खोलने को कहकर वापस लौट गई।पीड़िता ने कहा कि थानाध्यक्ष से फोन पर बात हुई कि पति के श्राद्ध कार्य के बाद कानूनी कार्रवाई की जाएगी।जब पति का श्राद्ध खत्म हुआ तो विधवा अपने बच्चों के साथ थाना पहुंचकर न्याय की गुहार लगाती है।थाना से उन्हें यह कहकर अंचल कार्यालय भेज दिया जाता है कि जमीन सम्बंधित मामला अंचलाधिकारी देखते हैं।जब पीड़ित विधवा अंचल कार्यालय जाती है तो उन्हें जनता दरबार में आने को कहा जाता है।जनता दरबार में दो शनिवार बीत जाने के बाद भी जनता दरबार में द्वितीय पक्ष के लोग नहीं पहुंच सके।इधर गांव में विधवा व उसके बच्चों को स्थाई रूप से घर से बेघर करने लेकर आरोपियों के द्वारा तरह-तरह का षड्यंत्र रचा जा रहा है।पीड़ित विधवा ने कही कि दुकान व मकान बिहार सरकार के जमीन में बना हुआ है।जिसका दाखिल खारिज नहीं हो सकता है।फिर इस जमीन के मालकिन ननद ललिता देवी व बबली देवी कैसे हो गईं।वहीं ललिता देवी द्वारा बिहार सरकार के जमीन को गांव के ही आशीष साव की पत्नी के नाम कैसे लिख दी।पीड़िता ने बताई कि दुकान व घर में जड़ा हुआ ताला तक नहीं खोला गया है।साथ ही बताई कि उसके पास राशनकार्ड भी नहीं है कि वे अपने बच्चों के साथ गुजर बसर कर सके।पीड़ित विधवा को कब और किसके माध्यम से न्याय मिलेगा यह भविष्य के गर्त में है।

क्या कहते हैं अंचलाधिकारी –

अंचलाधिकारी अनिल प्रसाद ने बताया कि मामले को लेकर द्वितीय पक्ष को नोटिस किया गया था।किंतु नोटिस के बाद भी वे लोग जनता दरबार में उपस्थित नहीं हुए।साथ ही कहा कि द्वितीय पक्ष को पुनः दुबारा नोटिस किया गया है।यदि अगले शनिवार को लगने वाले जनता दरबार में भी वे नहीं पहुंचेंगे तो इसकी रिपोर्ट एसडीओ को की जाएगी।

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