बिहार में उत्तम शिक्षा एवं रिसर्च को लेकर आईआईएम बोधगया ने आईआईटी पटना के साथ समझौता कर ज्ञापन पर किया हस्ताक्षर

विश्वनाथ आनंद ।
गया( बिहार )- आईआईएम बोधगया और आईआईटी पटना ने शिक्षा और रिसर्च में अपनी साझेदारी को मजबूत करने के लिए एक ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर कर ज्ञापन पर आईआईएम बोधगया की निदेशक डॉ. विनीता एस. सहाय और आईआईटी पटना निदेशक, डॉ. टी.एन. सिंह द्वारा हस्ताक्षर किए गए.यह सहयोग संसद के अधिनियमों के तहत स्थापित दोनों संस्थानों के बीच एक रणनीतिक गठबंधन का प्रतीक है.बिहार में स्थित, आईआईएम बोधगया और आईआईटी पटना के स्थायी परिसर सहयोगात्मक पहल के लिए एक विशिष्ट अवसर प्रदान करते हैं.समझौता ज्ञापन सहयोग के विभिन्न क्षेत्रों को रेखांकित करता है, जिसमें संयुक्त दोहरी डिग्री कार्यक्रम शामिल हैं,

जिसका उद्देश्य तकनीकी और प्रबंधकीय कौशल को मिला कर छात्रों को विशेषज्ञता प्रदान करना है.इसके अलावा, समझौता ज्ञापन दोनों संस्थानों के फैकल्टी सदस्यों के बीच शैक्षणिक, रिसर्च और कंसल्टिंग सहयोग की सुविधा प्रदान करता है. इस सहयोग में रिसर्च सुविधाओं को साझा करना, संयुक्त रिसर्च प्रयासों को सक्षम करना और रिसर्च क्षमताओं को बढ़ाना भी शामिल है.अंतर्राष्ट्रीय सहयोग भी एमओयू का एक प्रमुख फोकस है जिसके अंतर्गत दोनों संस्थान विनिमय कार्यक्रमों, रिसर्च साझेदारी और प्रकाशनों के लिए अंतर्राष्ट्रीय संगठनों के साथ जॉइंट वेंचर में शामिल होंगे .उद्योग की जरूरतों के अनुरूप एक्सेकुटिव शिक्षा कार्यक्रम और प्लेसमेंट गतिविधियों में सहयोगात्मक प्रयास भी इसी समझौते का एक हिस्सा है.यह एमओयू, पांच साल के लिए वैध है और उसके बाद बढ़ाया जा सकता है, जो एकेडमिक उत्कृष्टता के लिए दोनों संस्थानों की प्रतिबद्धता पर प्रकाश डालता है.एमओयू में कोई भी संशोधन आपसी समझ और सम्मान के सिद्धांतों पर जोर देते हुए आपसी समझौते के माध्यम से किया जाएगा.आईआईएम बोधगया और आईआईटी पटना के बीच यह एमओयू शिक्षा और रिसर्च में उनकी ताकत के संयोजन में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभायेगा.अपनी-अपनी खूबियों और संसाधनों का लाभ उठाकर, दोनों संस्थानों का लक्ष्य शिक्षा, रिसर्च और सामाजिक विकास में महत्वपूर्ण योगदान देना है.