राज्य स्तर पर चमके महिमा शंकर व सौम्या शंकर: लोक नृत्य और कविता पाठ में पाई विशेष पहचान

विश्वनाथ आनंद ।
पटना( बिहार )राज्य स्तर पर आयोजित सांस्कृतिक कार्यक्रम में दो होनहार प्रतिभाओं ने अपने उत्कृष्ट प्रदर्शन से सबका दिल जीत लिया। महिमा शंकर और सौम्या शंकर ने लोक नृत्य और कविता पाठ जैसे पारंपरिक एवं साहित्यिक मंचों पर अपनी विशिष्ट प्रतिभा का परिचय देते हुए कई राज्यस्तरीय सम्मान अपने नाम किए हैं।महिमा शंकर ने लोक नृत्य की विधा में अपनी जीवंत प्रस्तुतियों से दर्शकों और निर्णायकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। उनकी प्रस्तुति न केवल तकनीकी रूप से परिपक्व थी, बल्कि उसमें लोक संस्कृति की आत्मा भी बख़ूबी झलक रही थी। उनके मनमोहक भाव-भंगिमा और लयबद्धता ने उन्हें प्रतियोगिता का सितारा बना दिया।वहीं सौम्या शंकर ने कविता पाठ की श्रेणी में अपनी भावपूर्ण अभिव्यक्ति और स्पष्ट उच्चारण से श्रोताओं को गहराई से प्रभावित किया। उनकी कविताएं संवेदनशील विषयों को छूती हुई सामाजिक सन्देश देती नज़र आईं। निर्णायकों ने उनकी रचनात्मकता और प्रस्तुति कौशल की विशेष सराहना की।
इन दोनों प्रतिभाओं को राज्य सरकार और आयोजकों की ओर से विशेष प्रमाणपत्र, ट्रॉफी और नकद पुरस्कार से सम्मानित किया गया। इनके गुरुओं और परिवारजनों ने भी इस सफलता पर गर्व व्यक्त किया और इनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की।यह सफलता न केवल महिमा और सौम्या के लिए प्रेरणा है, बल्कि उन सभी युवाओं के लिए भी एक मिसाल है जो अपनी कला और अभिव्यक्ति से समाज में सकारात्मक बदलाव लाने का सोच रखती है। इसके अलावे सामाजिक कार्य से जुड़े सामाजिक संस्थाओं में अपने गुण को सिखा कर पढ़ाकर कंप्यूटर सीखाकर बहुत सारी युवा युवा लड़के व बेटियों कोो स्वाबीलंबी भी बना रही है। ये दोनों हमारे समाज के लिए बहुत बड़ी प्रेरणा स्रोत है।