कैंप के माध्यम से रैयत के बीच एलपीसी निर्गत करने में तेजी लावे जिलाधिकारी

धीरज ।

अंचल अधिकारी एवं जिला भू अर्जन पदाधिकारी को निर्देश दिया कि अपने नीचे के लोगों को निर्देश देकर मृत्यु लोगों को वंशावली ऑफलाइन में बनाए।

गया। सोमवार को जिला पदाधिकारी गया डॉक्टर त्यागराजन एसएम की अध्यक्षता में भू अर्जन विभाग से संबंधित समीक्षा बैठक समाहरणालय सभाकक्ष में की गई है।भू अर्जन कार्यालय से संचालित योजनाएं AKIC अमृतसर दिल्ली कोलकाता औद्योगिक कॉरिडोर, एनएच 119डी भारत माला (आमस से रामनगर), एनएच 02 औरंगाबाद से चोरदाहा सिक्स लेन चौड़ीकरण), बंधुआ से पैमार रेलवे लाईन हेतु भूमि अधिग्रहण, डीएफसीसीआईएल परियोजना, एनएच 82 ( गया हिसुआ बिहारशरीफ फोर लेन चौड़ीकरण) एवं एनएच 83 पटना गया डोभी फोर लेन चौड़ीकरण आदि की समीक्षा की गई है अमृतसर दिल्ली कोलकाता औद्योगिक कॉरिडोर के समीक्षा में जिला पदाधिकारी ने जिला भू अर्जन पदाधिकारी को निर्देश दिया कि 05 जून तक शत प्रतिशत राशि रैयतों के बीच मुआवजा वितरण करने का अंतिम निर्देश दिया है।
जिला भू अर्जन पदाधिकारी ने बताया कि अमृतसर दिल्ली कोलकाता आद्योगिक कॉरिडोर के तहत कुल 13 मौजा 1670.22 एकड़ का रकबा है। इस परियोजना के निर्माण हेतु 219.75 करोड़ के विरुद्ध 112.34 करोड़ रुपए का वितरण किया जा चुका है। इस परियोजना में 1579 हितबद्ध रैयतों है, जिसके विरुद्ध 603 रैयतों को भुगतान की जा चुकी है। रैयतों की जमाबंदी पूर्वजों के नाम के होने के कारण वर्तमान रहे लोगो को भुगतान में थोड़ी धीमी प्रगति है मुआवजा भुगतान हेतु मौजावार शिविर का आयोजन निरंतर किया जा रहा है।
22 मई को बरिया में कैम्प लगा कर 18 एलपीसी प्राप्त किया, 23 मई को किशोरिया में 6 एलपीसी, 24 मई को बनवासी में 5 एलपीसी, 25 मई को लेम्बोगाढा में 5 एलपीसी, 26 मई को गाजीचक में 6 एलपीसी एवं 27 मई को खराटी में 10 एलपीसी प्राप्ति हुई है। इस प्रकार 22 मई से 27 मई में कैम्प के दौरान कुल 50 एलपीसी तथा ऑनलाइन मोड में 43 एलपीसी प्राप्त हुई है इस प्रकार बिगत 5 दिनों में कैम्प में कुल 93 एलपीसी प्राप्त हुए है। एवं पूर्व से 555 एलपीसी अंचलाधिकारी डोभी द्वारा भूअर्जन कार्यालय को उपलब्ध करवाया गया है। इसके साथ साथ अंतिम 5 दिनों में कुल 49 आवेदन भी कैम्प मे मुआवजा भुगतान हेतु आवेदन प्राप्त हुए हैं। जिला भू अर्जन पदाधिकारी द्वारा कुल 59 प्राप्त आवेदनों में से 31 आवेदन के विरुद्ध मुआवजा भुगतान किया जा चुका है। 28 आवेदन में कुछ कागजात में कमी रहने के कारण मुआवजा भुगतान लंबित है। संबंधित भूमि मालिक को कागजात की मांग हेतु सूचना दी गई है। जिला पदाधिकारी ने अमृतसर दिल्ली कोलकाता औद्योगिक कॉरिडोर योजना के तरह एलपीसी निर्गत में धीमी प्रगति को देखते हुए निर्देश दिया कि कैंप के माध्यम से रैयत के बीच एलपीसी निर्गत करने में तेजी लावे। जिला पदाधिकारी ने सख्त निर्देश दिया कि भूमि के मापी के नाम पर कार्य धीमा ना रखें। अधिक से अधिक एलपीसी निर्गत करें। रैयतों की सूची बनाएं और कैंप के माध्यम से एलपीसी निर्गत करें। प्रतिदिन इस प्रोजेक्ट की समीक्षा अंचल अधिकारी से करें साथ ही रैयतो को उनकी भूमि अधिग्रहण से संबंधित पूरी जानकारी दें। जानकारी के अभाव में रैयतों को मुआवजा प्राप्त हेतु आवेदन जनरेट नही हो रहा है। जिला पदाधिकारी ने जिला भू अर्जन पदाधिकारी को निर्देश दिया कि रैयतों का अधिक से अधिक आवेदन प्राप्त करने हेतु अंचल कार्यालय के साथ-साथ जिला भू अर्जन कार्यालय में भी आवेदन प्राप्त करना सुनिश्चित करें।

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