इस वर्ष पितृपक्ष मेला 17 सिंतबर से प्रारंभ होकर 02 अक्टूबर 2024 तक आयोजित रखेगा - Newslollipop

इस वर्ष पितृपक्ष मेला 17 सिंतबर से प्रारंभ होकर 02 अक्टूबर 2024 तक आयोजित रखेगा

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मनोज कुमार ।

गया, 30 जुलाई 2024, इस वर्ष पितृपक्ष मेला 17 सिंतबर से प्रारंभ होकर 02 अक्टूबर 2024 तक आयोजित रखेगा। इस वर्ष पिछले वर्ष के अपेक्षा और अधिक तीर्थयात्रियों की आने की पूरी संभावना है। पितृपक्ष मेला के सफल आयोजन के उद्देश्य से किये जा रहे तैयारियों का समीक्षा जिला पदाधिकारी गया डॉ० त्यागराजन एसएम ने कोषांगवार किया। उन्होंने सभी कोषांगों के वरीय पदाधिकारी एवं नोडल पदाधिकारी को निर्देश दिया कि अभी से ही अपने कोषांग में अधीनस्थ पदाधिकारी, अभियंता एवं संबंधित नामित स्वमं सेवी सम्मानित व्यक्तियों के साथ स्थल निरीक्षण करते हुए, जो भी कमियां पायी जाती है उसे युद्धस्तर में ठीक करवाये, ताकि मेला अवधि में पितृपक्ष मेला की खूबसूरती में और चार चांद लग जाये।
आज मुख्य रूप से मेल क्षेत्र के जलापूर्ति एवं स्वच्छता कोषांग के कार्यो पर समीक्षा की गई।
पेयजल एवं स्वच्छता कोषांग के समीक्षा के दौरान जिला पदाधिकारी ने कार्यपालक अभियंता पीएचईडी को निर्देश दिया कि सभी आवासन अस्थल तथा पुलिस आवासन स्थल पर अभी से ही घूम घूम कर पितृपक्ष मेला में किए जाने वाली व्यवस्थाओं का आकलन कर लें। उन्होंने कहा कि आवासन स्थलों पर पहले से स्थापित टॉयलेट तथा पेयजल की व्यवस्था जो स्थापित है उसे मरम्मत करवाना सुनिश्चित करें। साथी कितनी संख्या में अस्थाई टॉयलेट एवं स्नानागार बनाने की आवश्यकता है इसका आकलन कर लें।
उन्होंने उप नगर आयुक्त को निर्देश दिया कि सभी आवासन स्थल पर पानी निकासी हेतु एक सेपरेट टीम नामित रखें ताकि किसी भी आवासन स्थल में जलजमाव की स्थिति रहने पर उसे तुरंत साफ करवाया जा सके।


सभी पार्किंग स्थल पर पर्याप्त टॉयलेट एवं पानी की व्यवस्था सुनिश्चित करावे।
जिला पदाधिकारी ने कार्यपालक अभियंता phed को निर्देश दिया है कि रामशिला, प्रेतशिला, गोदावरी तालाबों को विशेष रूप से पानी सफाई व्यवस्था रखें।
बताया गया कि देवघाट पर कुल 52 शौचालय नगर निगम के हैं सभी को मरूमती किया जा रहा है देवघाट पर चेंजिंग रूम एवं झरना की मरामाती पीएचडी विभाग द्वारा की जा रही है जिला पदाधिकारी ने निर्देश दिया है कि सीता कुंड में भी टॉयलेट, पेयजल, चेंजिंग रूम इत्यादि की व्यवस्था का आकलन कर लें।
उन्होंने नगर निगम को निर्देश दिया है कि सूर्यकुंड तालाब, बैतरणी तालाब एवं ब्रह्मशत तालाब के पानी को सफाई की व्यवस्था रखें। उन्होंने निर्देश दिया है कि जितने भी सरोवर हैं जहां पिंडदान इत्यादि का कार्य होते हैं उन सभी तालाबों में लगे काई को साफ करवाए ताकि कहीं फिसलने की कोई घटना नहीं हो सके।
जिला पदाधिकारी ने निर्देश दिया है कि संवाद सदन समिति के अधीनस्थ जितने भी ठहराव स्थल हैं एवं उनके अधीन जो भी स्वामित्व है उन सभी का निरीक्षण करेंगे एवं उन स्थलों में पेयजल टॉयलेट एवं सफाई की व्यवस्था का आकलन करते हुए व्यवस्था सुनिश्चित करवाये।
जिला पदाधिकारी ने नगर निगम को निर्देश दिया है कि पितृपक्ष मेला के दौरान अचानक भारी बरसात नहीं हो इस दृष्टिकोण से भी पूरी तैयारी रखनी होगी। कहीं जल जमाव की स्थिति होने पर तुरंत पानी निकासी की व्यवस्था रखनी होगी। इसके लिए अभी से ही पूरी तैयारी एवं आकलन कर लें। नगर निगम द्वारा बताया गया की 12 एचपी, 10 एचपी एवं 7:30 एचपी के पांच पंप सेट मशीन उपलब्ध है। जिला पदाधिकारी ने निर्देश दिया है कि पितृपक्ष मेला अवधि में 15 दिनों के लिए भाड़े पर 12 एचपी एवं 10 एचपी के अतिरिक्त 10 पंपसेट मशीन रख ले ताकि जल जमाव की स्थिति में उसका तुरंत मदद लिया जा सके।
अंत में जिला पदाधिकारी ने नगर निगम, phed एवं बुडको के पदाधिकारी को निर्देश दिया है कि आपस में कोऑर्डिनेशन करते हुए आगामी पितृपक्ष मेल को पूरी तरह सफल बनाएं। उन्होंने निर्देश दिया है कि सभी वेदी स्थल, सभी पार्किंग स्थल, सभी ठहराव स्थल एवं मेला क्षेत्र आदि में जो भी कमियां है उसे अगस्त लास्ट तक कमियां को दूर करते हुए मेला का एक बेहतर स्वरूप दें।
बैठक में उप विकास आयुक्त, अपर समाहर्ता राजस्व, अपर समाहर्ता विभागीय, ज़िला पंचायत राज पदाधिकारी, वरीय उप समाहर्ता रविन्द्र दिवाकर/ मनीष कुमार, डीसीएलआर टिकारी, उप नगर आयुक्त, स्वमं सेवी सामाजिक व्यक्ति जितेंद्र कुमार सहित कोषांग के वरीय एव नोडल पदाधिकारी उपस्थित थे।